प्रधानमंत्री ने वाराणसी की यात्रा की.....
डीजल से विद्युत में परिवर्तित पहले इंजन को झंडी दिखाई, गुरु रविदास जन्म स्थान विकास परियोजना का शिलान्यास किया गया। सरकार भ्रष्टाचारियों को सजा दे रही है, ईमानदार लोगों को इनाम दे रही है: प्रधानमंत्री
नई-दिल्ली: प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने उत्तर प्रदेश के वाराणसी की यात्रा की। उन्होंने गुरु रविदास जन्म स्थान विकास परियोजना का शिलान्यास किया।
प्रधानमंत्री ने वाराणसी में डीजल से विद्युत में परिवर्तित पहले इंजन को झंडी दिखाई।
प्रधानमंत्री ने वाराणसी के डीजल लोकोमोटिव वर्क्स में डीजल से विद्युत में परिवर्तित पहले इंजन को झंडी दिखाते हुए भारतीय रेल के शत-प्रतिशत विद्युतीकरण मिशन को ध्यान में रखते हुए डीजल लोकोमोटिव वर्क्स, वाराणसी ने डीजल इंजन को विद्युत इंजन में विकसित किया है। प्रारंभिक परीक्षणों के बाद प्रधानमंत्री ने इंजन का निरीक्षण किया और इसे झंडी दिखाई। भारतीय रेल ने निर्णय लिया है कि सभी डीजल इंजनों को विद्युत इंजनों में परिवर्तित किया जाएगा। इस परियोजना से ऊर्जा की बचत होगी और कार्बन उत्सर्जन में कमी आएगी। डीजल लोकोमोटिव वर्क्स ने सिर्फ 69 दिनों में दो डब्ल्यूडीजी3ए डीजल इंजनों को 10,000 एचपी की क्षमता वाले एक विद्युत इंजन डब्ल्यूएजीसी3 में परिवर्तित किया। यह एक "मेक इन इंडिया" पहल है। इंजन में यह परिवर्तन पूरी तरह भारतीय शोध और विकास पर आधारित है। पूरे विश्व में अपनी तरह का यह इकलौता कार्यक्रम है।
रविदास जयंती के अवसर पर प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने श्री गुरु रविदास की प्रतिमा पर श्रद्धांजलि दी। इसके बाद प्रधानमंत्री ने श्री गुरु रविदास जन्म स्थान मन्दिर, गोवर्धनपुर में गुरु रविदास जन्म स्थान विकास परियोजना का शिलान्यास किया।
गरीब व कमजोर तबकों के लिए शुरू की गई सरकारी परियोजनाओं के बारे में प्रधानमंत्री ने कहा, "हमने गरीबों के लिए आरक्षण की व्यवस्था की है ताकि उपेक्षित लोग सम्मान की जिंदगी व्यतीत कर सकें।
प्रधानमंत्री श्री मोदी ने कहा कि रहस्यवादी कवि के उपदेश हमें प्रतिदिन प्रेरणा देते हैं। उन्होंने कहा कि लोग एक.दूसरे से संवाद स्थापित नहीं कर सकते और समाज में समानता नहीं हो सकती यदि जाति आधारित विभेद मौजूद रहेगा। उन्होंने लोगों से आग्रह किया कि वे संत रविदास द्वारा दिखाए गए मार्ग का अनुसरण करें। प्रधानमंत्री श्री मोदी ने कहा कि इस परियोजना के अंतर्गत संत रविदास की प्रतिमा के साथ एक विशाल पार्क का निर्माण किया जाएगा। पार्क में तीर्थ यात्रियों के लिए सभी प्रकार की सुविधाएं होंगी।
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