कर्टन रेजर: अल नागाह 2019
आज रक्षा मंत्रालय ने विज्ञप्ति जारी कर बताया कि, "भारत और ओमान के बीच द्विपक्षीय संयुक्त अभ्यासों की श्रृंखला में तीसरा अल नागाह III अभ्यास 12 से 15 मार्च 2019 तक ओमान की जबल अल अखदर पहाडि़यों में किया जाएगा।
इस सैन्य अभ्यास के दौरान दोनों देशों की सेनाएं अर्द्ध शहरी एवं पर्वतीय क्षेत्रों में आतंकवाद विरोधी कार्रवाइयों में पारस्परिकता को बढ़ावा देने के लक्ष्य के साथ युद्धकौशलों, हथियारों के संचालन और गोलाबारी में विशेषज्ञता और अनुभवों का आदान- प्रदान करेंगी।
भारत-ओमान के बीच द्विपक्षीय सुरक्षा संबंध 2006 में भारत-ओमान संयुक्त सैन्य सहयोग की बैठकों के बाद से निरंतर विकसित हो रहे हैं। अभ्यास अल नागाह III से पहले दो संयुक्त अभ्यासों का आयोजन किया जा चुका है। जिनका आयोजन क्रमश: ओमान में जनवरी 2015 तथा भारत में मार्च 2017 में किया गया था। इस प्रकार, हिंद महासागर क्षेत्र (आईओआर) के दोनों महत्वपूर्ण देशों के बीच बढ़ती सैन्य तथा सामरिक साझेदारी पर बल देते हुए इसी तरह के अभ्यास दोनों देशों की नौसेनाओं और वायु सेनाओं के बीच भी प्रचलन में हैं।
भारतीय सेना के दस्ते का प्रतिनिधित्व गढ़वाल राइफल्स की 10वीं बटालियन के 4 अधिकारियों, 9 जूनियर कमिशंड अधिकारियों और 47 अन्य कर्मियों द्वारा किया जाएगा। रॉयल आर्मी आफ ओमान (आरएओ) की जबल रेजीमेंट की ओर से भी इतने ही सैन्य कर्मी इस अभ्यास में हिस्सा लेंगे। पर्यवेक्षक शिष्टमंडल में दोनों देशों की सेनाओं के वरिष्ठ अधिकारी शामिल होंगे, जो 25 मार्च 2019 को इस अभ्यास के समापन के गवाह बनेंगे। यह अभ्यास दोनों देशों की सेनाओं के बीच उनकी क्षमताओं की समझ को बढ़ाने तथा मैत्री को मजबूती प्रदान करने का मार्ग प्रशस्त करेगा।
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