व्यंग्य: प्यार में मंदी तो बाजार में मंदी: नवेन्दु उन्मेष
देश में मंदी का दौर जारी है। आर्थिक विशेषज्ञों के द्वारा मंदी के कई कारण बताये जा रहे हैं। बनारस के कपड़ा व्यापारी परेशान है कि अब बनारसी साडी़ की डिमांड कम हो गयी है। आटोेमोबाइल इंडस्ट्री के लोग परेशान है कि उनकी गाड़ियां बिक नहीं रही हैं। माॅल वाले परेशान हैं कि उनके माॅल में अब कोई ग्राहक आता ही नहीं है। इन सब का ठीकरा वे देश में व्याप्त आर्थिक मंदी के सिर पर फोड़ रहे हैं। लेकिन मेरा मानना है कि देश में मंदी का मुख्य कारण प्यार है। इनदिनों प्यार का बाजार ठंडा पड़ा है और नफरत का बाजार गर्म है। ऐसे में मंदी तो आयेगी ही। देश को आर्थिक मंदी से उबरने के लिए प्यार के बाजार को गर्म करना होगा और नफरत के बाजार को ठंडा करना पड़ेगा। तभी मंदी का दौर खत्म हो सकता है। पहले लड़का-लड़की खुलेआम प्यार करते थे। खुलेआम माॅल में आकर एक.दूसरे के लिए कपड़े खरीद लेते थे। बाइक में भी बगैर हेलमेट घूमकर अपने प्यार का इजहार कर लेते थे। लेकिन अब तो इस पर भी जुर्माना लगना शुरू हो गया है तो मंदी आयेगी ही। प्यार के बाजार में मंदी आने के कारण पेट्रोल पंपों में पेट्रोल और डीजल की मांग में कमी आयी है। सूरत के हीरा व्यापारी भी मंदी की मार झेल रहे हैं। आखिर हीरा भी प्यार में ही खरीदा जाता है। कोई भी व्यक्ति हीरा खाने के लिए नहीं खरीदता। जाहिर है प्रेमी ओर प्रेमिकाए पति और पत्नी नयी मोटर व्हीकल एक्ट के कारण खुलेआम बाजार में निकल नहीं पा रहे हैं तो इसका असर बाजार पर पड़ेगा ही। तो फिर हीरे के व्यापारी परेशान क्यों न हों। कई राज्यों का हाल यह है कि अगर आप एक गाय खरीदकर ले जा रहे हैं तो संभव है कि प्यार के दुश्मन आपका खात्मा कर दें। जाहिर है लोग उन राज्यों में गाय खरीदने से भी डरने लगे हैं। बच्चा चोरी से लेकर माॅब लिंचिंग का भी बाजार गर्म है। न जाने कब आप किस गांव में जायें और बच्चा चोरी के आरोप में माॅब लिचिंग के शिकार हो जायें। ऐसे में मंदी का दौर तो आयेगा ही।
कुछ व्यापारियों का मानना है कि जीएसटी की गलत नीतियों के कारण बाजार में मंदी आयी है। लेकिन जीएसटी भी तो सरकार ने व्यापारियों से प्यार बढ़ाने के लिए लागू किया था। अब व्यापारियों को जीएसटी काटने को दौड़ता है तो प्यार में फर्क आयेगा ही।
मेरा मानना है कि प्यार के दुश्मनों को जब एक.दूसरे का प्यार रास नहींआता है तो वे नफरत की दीवार खड़ी करते हैं और इससे देश में आर्थिक मंदी के साथ-साथ कई तरह की मंदी आती है। अखर कोई गाड़ी भी प्यार के कारण ही खरीदता है। शादी.विवाह में भी दूल्हे को गाड़ियां प्यार के कारण ही दी जाती है।
प्यार के बाजार में मंदी का कारण अगर आपको जानना है तो आप किसी पार्क में चले जाईये। वहां अब पहले से कम प्रेमी जोड़े प्रेमालाप करते हुए मिलते हैं। पार्क के टिकट घर में पूछ लीजिए। पता चलेगा कि वहां टिकट खरीदने वालों का भी अकाल पड़ा है। वे भी मंदी की मार झेल रहे हैं।
(नवेन्दु उन्मेष)
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