ललितपुर के जिला चिकित्सालय के कोरोना कन्ट्रोल रूम में बच्चों के डॉक्टर की नियुक्ति करने और इलाज से इंकार करने वाले CMS- डॉ. बासवानी के विरुद्ध कार्यवाही की मांग हुयी तेज
लोकतांत्रिक समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय संरक्षक- रघु ठाकुर और उत्तर प्रदेश के प्रदेश अध्यक्ष- एस. एन. श्रीवास्तव ने भी मुख्य मंत्री से तत्काल कार्यवाही कर ललितपुर के बच्चों के इलाज और इलाज से इंकार करने के अमानवीय कृत्य के लिए मुख्य चिकित्सा अधीक्षक- डॉक्टर बासवानी के बिरुद्ध आपराधिक कार्यवाही करने की मांग की.
लोकतांत्रिक समाजवादी पार्टी के महासचिव ने मुख्य मंत्री के नाम एक वीडियो भी जारी की.
ललितपुर: उत्तर प्रदेश में ललितपुर के मान्यवर कांशीराम जिला अस्पताल के कोरोना कन्ट्रोल रूम में बच्चों के डॉक्टर की नियुक्ति और इलाज से इंकार करने वाले डॉक्टर- बासवानी के विरुद्ध कार्यवाही की मांग तेज़ होती जा रही है।
ललितपुर का मान्यवर कांशीराम जिला अस्पताल काफी समय से अव्यस्थाओं का शिकार बना हुआ है और यहाँ के मुख्य चिकित्सा अधीक्षक को तो मुख्यमंत्री -योगी का भी खौफ नहीं है। ललितपुर के जिलाधिकारी से लेकर मुख्यमंत्री और प्रधानमंत्री तक स्थानीय लोग ट्विटर और अन्य माध्यमों से जिला अस्पताल में कोरोना नियंत्रण कक्ष में बच्चों के डॉक्टर की नियुक्त को लेकर पात्र लिख चुके हैं, गुहार लगा चुके हैं, परन्तु अभी तक ललितपुर जिला अस्पताल में बच्चो के इलाज की व्यवस्था नहीं हो पायी है।
लोगों का कहना है कि, बदलते मौसम के कारण सर्दी-बुखार से पीड़ित बच्चों के इलाज के लिए गरीब और स्थानीय लोग जिला अस्पताल आ रहे हैं जहां OPD बंद है और कोरोना नियंत्रण कक्ष में बच्चों का कोई डॉक्टर नहीं होने से बच्चों का इलाज नहीं हो पा रहा है और प्राइवेट डॉक्टर कोरोना के दर से हाथ नहीं लगा रहे हैं।
बुद्धवार को लोकतांत्रिक समाजवादी पार्टी का एक प्रतिनिधिमंडल भी जिला अस्पताल में बच्चों के डॉक्टर की नियुक्ति और मुख्य चिकित्सा अधीक्षक- डॉक्टर बासवानी के बिरुद्ध कड़ी कार्यवाही करने की मांग को लेकर जिलाधिकारी से मिलने गया जहां जिलाधिकारी के स्थान पर उप जिलाधिकारी मिले और समस्याओं को सुनकर प्रतिनिधिमंडल से उनका मांग-पत्र लिया और शीघ्र कार्यवाही और बाल-चिकित्सक की व्यवस्था का आश्वासन दिया।
लोकतान्त्रिक समाजवादी पार्टी के राष्ट्रिय सचिव - राघवेंद्र सिंह ने बताया कि, जब वे स्थानीय लोगों के साथ मुख्य चिकित्सा अधीक्षक- डा बासवानी से निवेदन किया कि, 'OPD बंद है, कोरोना नियंत्रण कक्ष में बच्चों के डॉक्टर नहीं होने के कारण बच्चों का इलाज नहीं हो पा रहा है, कृपया कोरोना नियंत्रण कक्ष में बच्चों के एक डॉक्टर कि व्यवस्था कर दें जिससे खांसी-बुखार से पीड़ित बच्चों का इलाज हो सके', तो उन्होंने इंकार करते हुए कहा कि, 'आप लोगों ने ऐसी पार्टी को क्यों वोट दिया, जिसकी सरकार बच्चों का इलाज नहीं करवा सकती। जाइए अपने मुख्यमंत्री से कहें।'
राघवेंद्र सिंह और स्थानीय लोगों का कहना है कि, "अस्पताल के चिकित्सा अधीक्षक डा नहीं नेता बन गए हैं और कह रहे हैं कि भाजपा को वोट देने के कारण नियुक्त नहीं होता शिशु चिकित्सक"।
लोकतांत्रिक समाजवादी पार्टी के महासचिव- राघवेंद्र सिंह ने मुख्य मंत्री के नाम एक वीडियो भी जारी की है।
राघवेंद्र सिंह ने कहा कि, "हम लोगों ने विभिन्न माध्यमों से जिला प्रशासन और सरकार से मांग की है कि, ललितपुर के मान्यवर कांशीराम जिला चिकित्सालय के ककोरोना नियंत्रण कक्ष में तत्काल बच्चों के डॉक्टर कि नियुक्ति की जाय और मुख्य चिकित्सा अधीक्षक - डॉक्टर बासवानी के अमर्यादित, अमानवीय और असंवैधानिक कृत्य का मान मुख्य मंत्री जी को संज्ञान लेना चाहिए।
ललितपुर के ही नारायण दास कुशवाहा ने भी लिखा है कि, "जब देश में कोरोना बीमारी से निजात पाने के लिए कर्फ्यू का स्तेमाल हो रहा हो , ऐसे में जिला चिकित्सालय ललितपुर उप्र के कोरोना कन्ट्रौलरूम में शिशु चिकित्सक को न बैठाना कितना घातक हो सकता है?-
नारायण दास कुशवाहा ने लिखा है कि, "डा बासवानी सीएमएस जिला अस्पताल ललितपुर ने जिस प्रकार से मुख्यमंत्री को दोषी करार दिया वह गम्भीर प्रश्न है । मुख्य चिकित्सा अधीक्षक- डॉक्टर बासवानी का यह कथन- "ऐसी पार्टी को वोट क्यों दिया जो बच्चों को इलाज नहीं दे सकती जाओ मुख्यमंत्री से कहो। मैं कुछ नहीं कर सकता", गंभीर है। मैं माननीय मुख्यमंत्री जी उप्र से निवेदन करुंगा कि डा वासवानी सीएमएस जिला अस्पताल ललितपुर के प्रश्न का उत्तर देने का कष्ट करें ताकि ललितपुर के शिशुओं का इलाज संभव हो सके।"
लोकतांत्रिक समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय संरक्षक- रघु ठाकुर और उत्तर प्रदेश के प्रदेश अध्यक्ष- एस एन श्रीवास्तव ने भी मुख्य मंत्री से तत्काल कार्यवाही कर ललितपुर के बच्चों के स्वास्थ्य की रक्षा और इलाज से इंकार करने के अमानवीय कृत्य के लिए मुख्य चिकित्सा अधीक्षक- डॉक्टर बासवानी के बिरुद्ध आपराधिक कार्यवाही करने की मांग की है।
अब ललितपुर के लोग अपने बच्चों के इलाज के लिए जिलाधिकारी, मुख्यमंत्री और प्रधानमंत्री की ओर देख रहे हैं।
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