संयुक्त राज्य अमेरिका के राष्ट्रपति के साथ द्विपक्षीय बैठक में प्रधानमंत्री के प्रारंभिक वक्तव्य का मूल पाठ: प्रधानमंत्री कार्यालय
नई दिल्ली (PIB): प्रधानमंत्री कार्यालय ने "संयुक्त राज्य अमेरिका के राष्ट्रपति के साथ द्विपक्षीय बैठक में प्रधानमंत्री के प्रारंभिक वक्तव्य का मूल पाठ" जारी किया।
संयुक्त राज्य अमेरिका के राष्ट्रपति के साथ द्विपक्षीय बैठक में प्रधानमंत्री के प्रारंभिक वक्तव्य का मूल पाठ:
राष्ट्रपति जी,
मैं आपका ह्रदय से बहुत बहुत आभार व्यक्त करता हूँ और जिल बायडन का भी ह्रदय से आभार व्यक्त करता हूँ. जिस प्रकार से आपने गर्मजोशी से मेरा और हमारे डेलिगेशन का स्वागत किया और विशेष रूप से मैं आपका आभार व्यक्त करता हूँ आज आपने व्हाइट हॉउस के द्वार भारतीय समुदाय के लिए खोल दिए और हज़ारों की तादाद मे भारतीय समुदाय अमेरिका-भारत की भावी रणनीति के साक्षी बनने के लिए आज हमारे बिच मौजूद थे.
एक्सेलन्सी,
आप हमेशा भारत के बहुत अच्छे शुभचिंतक रहें और जब भी आपको जहाँ भी अवसर मिला हैं आपने हमेशा भारत और अमेरिका के संबंधों के महत्त्व को बहुत बड़ा बल दिया हैं, बहुत बड़ी ताक़त दी हैं. और मुझे याद हैं की 8 साल पहले U.S-India Business Council को संबोधित करते हुए आपने एक बहुत महत्वपूर्ण बात कही थी, आपने कहा था – "Our goal is to become India’s best friend.” ये आपके शब्द आज भी गूंज रहें हैं. भारत के प्रति आपकी यही व्यक्तिगत प्रतिबद्धता हमें अनेक bold और महत्वकांक्षी कदम उठाने के लिए प्रेरित कर रही हैं.
आज भारत-अमेरिका स्पेस की उचाईयों से समुद्र की गहराईयों तक, ancient culture से लेकरके artificial intelligence तक, हर क्षेत्र मे कंधे से कन्धा मिलाकर चल रहें हैं.
डिप्लोमेटिक दृष्टि से जब किन्ही दो देशों के बिच संबंधों की बात की जाती हैं तो अक्सर औपचारिक जॉइंट स्टेटमेंट, वर्किंग ग्रुप्स, और MoU उसी के दायरे में आम तौर पर बातचीत होती हैं, इसका अपना महत्व हैं ही, लेकिन भारत और अमेरिका के रिश्तों का असली इंजिन हमारे मजबूत पीपल टू पीपल सम्बन्ध हैं. और इस इंजिन की एक जोर भरी दहाड़ हमने अभी बाहर व्हाइट हॉउस के लॉन पर भी सुनी.
एक्सेलन्सी,
जैसा आपने कहा मैं उसे फिर से दोहराना चाहूंगा, आज की तेजी से बदल रही वैश्विक स्थिति मैं सभी की नजर विश्व के दो सबसे बड़े लोकतान्त्रिक देशों पर हैं, भारत और अमेरिका पर हैं. मेरा मानना हैं की हमारी स्ट्रेटेजिक साझेदारी मानव जाती के कल्याण के लिए वैश्विक शांति और स्थिरता के लिए लोकतान्त्रिक मूल्यों मे विश्वास रखने वाले सभी ताकतों के लिए बहोत ही महत्वपूर्ण हैं और पहले से कहीं ज्यादा महत्वपूर्ण हैं.
मुझे विश्वास हैं की हम मिलकर पुरे विश्व के सामर्थ्य को बढ़ाने मे अवश्य सफल होंगे.
आज हमारी बातचीत में हम ऐसे ही कई मुद्दों पर बात करेंगे और अपने स्ट्रेटेजिक संबंधों को नए आयाम से जोड़ेंगे. मैं एक बार फिर आपको आपकी मित्रता के लिए हृदय से आभार व्यक्त करता हूँ.
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