
चुनाव आयोग ने प• बंगाल में हिंसा के मद्देनजर 19घंटे पहले 16 मई को मोदी की रैली के बाद रात्रि 10 बजे से बंद किया प्रचार - भड़कीं ममता बनर्जी
नरेन्द्र मोदी बंगाल की जनता से डर गये है: ममता बनर्जी
चुनाव आयोग मोदी और शाह के इशारे पर कार्य कर रहा है और यदि नहीं तो अमित शाह के रोड शो में हिंसा को देखते हुए गुरूवार 16मई को प्रातः 10:00बजे से चुनाव प्रचार खत्म करने का फैसला क्यों नहीं लिया चुनाव आयोग ने?-
[सच्चिदानन्द श्रीवास्तव, प्रदेश अध्यक्ष (उ•प्र•)/लोसपा]
लखनऊ: चुनाव आयोग ने प• बंंगाल में अमित शाह के रोड शो में हुई हिंसा को देखते हुए गुरुवार 16मई रात्रि दस बजे के बाद पश्चिम बंगाल में चुनाव प्रचार अभियान ख़त्म करने का फ़ैसला किया है, जिसपर प्रतिक्रिया ब्यक्त करते हुए पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कहा कि, "यह बीजेेेेपी के इशारे पर लिया गया फैसला है" तथा लोकतांत्रिक समाजवादी पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष (उ•प्र•)- सच्चिदानन्द श्रीवास्तव ने कहा कि, "चुनाव आयोग मोदी और शाह के इशारे पर कार्य कर रहा है और यदि नहीं, तो चुुुनाव आयोग ने 19मई को होने वाले अंतिम चरण के चुुुनाव में प•बंगाल में गुुुरुवार 16मई को प्रातः 10:00 बजे से चुुुनाव प्रचार पर रोक क्यों नहीं लगाई?-
क्या चुनाव आयोग ने यह फैसला मोदी की रैैली केे कारण लिया है?-
बीबीसी न्यूज डाट काम पर प्रकाशित खबरों के अनुसार चुनाव आयोग ने पश्चिम बंगाल के एडीजी (सीआईडी) राजीव कुमार और प्रधान सचिव (गृह) अत्रि भट्टाचार्य को भी हटा दिया है।
राजीव कुमार को चुनाव आयोग ने नई दिल्ली में गृह मंत्रालय भेजने का फ़ैसला किया है और गृह सचिव की ज़िम्मेदारी मुख्य सचिव को दी गई है।
19 मई को लोकसभा चुनाव के आख़िरी चरण का मतदान है और सामान्य स्थिति में इन पर चुनाव प्रचार 17 मई की शाम पाँच बजे ख़त्म होता लेकिन चुनाव आयोग ने 19 घंटे पहले ही ऐसा करने का फ़ैसला किया है।
16 मई को मथुरापुर और दमदम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी दो रैलियां हैं। मोदी की दोनों रैलियां चुनाव आयोग के इस फ़ैसले से प्रभावित नहीं होंगी क्योंकि आयोग ने 16 मई की रात दस बजे से प्रचार अभियान बंद करने का फ़ैसला किया।
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने चुनाव आयोग के इस फ़ैसले पर कहा कि यह बीजेपी के निर्देश पर लिया गया है।
ममता ने कहा, "यह पक्षपातपूर्ण फ़ैसला है। मोदी और अमित शाह ने चुनाव आयोग से यह फ़ैसला करवाया है। अमित शाह ने पश्चिम बंगाल में अराजकता फैलाई है।"
"ममता बनर्जी ने चुनाव आयोग के फ़ैसले के बाद कोलकाता में रात नौ बजे प्रेस कॉन्फ़्रेंस की और प्रधानमंत्री मोदी पर जमकर हमला बोला"
ममता ने प्रेस कॉन्फ़्रेंस को संबोधित करते हुए कहा, "चुनाव आयोग का यह फ़ैसला असंवैधानिक, अप्रत्याशित और पक्षपातपूर्ण है। आज तक मैंने इतना कमज़ोर चुनाव आयोग कभी नहीं देखा। अमित शाह को चुनाव आयोग ने कभी कोई नोटिस क्यों नहीं दिया जबकि उन्होंने कई आपत्तिजनक बातें कही हैं। नरेंद्र मोदी बंगाल की जनता से डर गए हैं।"
पश्चिम बंगाल की जिन नौ सीटों पर चुनाव प्रचार बंद करने का फ़ैसला किया गया है, वो सीटें हैं- दमदम, बरासत, बसिरहट, जयनगर, मथुरापुर, जादवपुर, डायमंड हार्बर, दक्षिणी और उत्तरी कोलकाता।
ग़ुस्से में ममता बनर्जी
ममता बनर्जी ने कहा कि, "अमित शाह रैली में करोड़ों रुपए खर्च किए जा रहे हैं"।
ममता ने कहा, "चुनाव आयोग को समझना चाहिए कि लोकतंत्र में विपक्ष भी होता है। आप विपक्ष की इज़्ज़त नहीं करेंगे तो आपका कौन करेगा?- चुनाव आयोग के इस फ़ैसले से बंगाल के लोग ग़ुस्से में हैं। मैंने ऐसा चुनाव आयोग कभी नहीं देखा। नरेंद्र मोदी ने मेरा अपमान किया है। क्या यह देश ऐसे चलेगा?- मैं देशवासियों से अपील करती हूं कि चुनाव आयोग के इस अन्यापूर्ण फ़ैसले का जवाब वोट से दें।"
अनुच्छेद 324 का इस्तेमाल
चुनाव आयोग ने कहा कि यह शायद पहली बार है जब इलेक्शन कमिशन ऑफ इंडिया ने अनुच्छेद 324 का इस्तेमाल किया है।
चुनाव आयोग कोलकाता में हिंसा और ईश्वरचंद्र विद्यासागर की मूर्ति तोड़ने को दुखद बताया और उम्मीद जताई कि प्रदेश की सरकार दोषियों को जल्द पकड़ लेगी।
मंगलवार की शाम बीजेपी प्रमुख अमित शाह का पश्चिम बंगाल की राजधानी कोलकाता में रोड शो था और इसी में हिंसा हुई थी।
रोड शो के दौरान ही 19वीं सदी के समाज सुधारक ईश्वरचंद्र विद्यासागर की मूर्ति तोड़ दी गई थी। बीजेपी और तृणमूल कांग्रेस दोनों एक दूसरे को मूर्ति तोड़ने का ज़िम्मेदार ठहरा रही हैं।
नई दिल्ली में चुनाव आयोग के मुख्यालय निर्वाचन सदन में लंबी बैठक के बाद यह फ़ैसला लिया गया है। चुनाव आयोग का कहना है कि पश्चिम बंगाल के प्रशासन से निष्पक्ष चुनाव कराने में सहयोग नहीं मिल रहा है।
(साभार- बीबीसी & मल्टी मीडिया)
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