दलितों के घर भोजन एक नाटक
लखनऊ, 03 मई: उत्तर प्रदेश में आये भीषण आंधी-तूफान, बारिश में पैंतालीस से अधिक लोगों की असमय मृत्यु हो गयी। किसानों की फसल बर्बाद हो गयी। जनता त्राहि-त्राहि कर रही है, चारों तरफ अराजकता फैली हुई है और अपनी खुद की संसदीय सीट तक न बचा पाने वाले मुख्यमंत्री आदित्यनाथ जी कर्नाटक में पार्टी का प्रचार करने में व्यस्त हैं। भारतीय जनता पार्टी का प्रदेश की जनता से कोई सरोकार नहीं रह गया है।
प्रदेश कांग्रेस के प्रवक्ता अमरनाथ अग्रवाल ने आज जारी बयान में कहा कि प्रदेश सरकार के कैबिनेट मंत्री श्री ओम प्रकाश राजभर लगातार मुख्यमंत्री -आदित्यनाथ को आर-पार की चुनौती दे रहे हैं। इसके पूर्व भाजपा के चार-चार सांसद मुख्यमंत्री की कार्यशैली पर उंगली उठाते हुए प्रधानमंत्री केा पत्र लिख चुके हैं। इनके कई विधायक प्रदेश में ठप हो चुके विकास को लेकर आक्रोश जता चुके हैं।
श्री अग्रवाल ने कहा कि प्रदेश में सरकार नाम की कोई चीज नहीं बची है। किसी भी चुनी हुई लोकतांत्रिक सरकार में सभी की सामूहिक जिम्मेदारी होती है ऐसे में मुख्यमंत्री के प्रति जिस प्रकार मंत्री, विधायक और सांसद उंगली उठा रहे हैं और अक्षमता का आरोप लगा रहे हैं ऐसे में मुख्यमंत्री जी को स्वयं अपने बारे में निर्णय लेना चाहिए।
प्रवक्ता ने आरोप लगाते हुए कहा कि भारतीय जनता पार्टी द्वारा दलितों के घर भोजन करना महज एक नाटक साबित हो चुका है क्योंकि भाजपा के मंत्री होटल से खाना मंगवाकर दलित के घर खा रहे हैं और इनके केन्द्रीय मंत्री श्री रामविलास पासवान दलितों को वोट बैंक मानते हुए इनके वोटों को लेने के लिए उनके घर खाना खाने को आवश्यकता बता रहे हैं, वहीं भाजपा की बहराइच की दलित सांसद दलितों के घर भोजन करने को नाटक बता रही हैं। इससे साफ हो गया है कि भाजपा का दलितों के घर भोजन करना दलितों से प्रेम नहीं बल्कि वोट लेने के लिए महज एक ढोंग है।
उ0प्र0 कांग्रेस अनुसूचित जाति विभाग की उपाध्यक्ष एवं मीडिया प्रभारी सिद्धि श्री ने कहा कि एक तरफ मध्य प्रदेश में धार जिले में सिपाही भर्ती के दौरान एससी/एसटी वर्ग के अभ्यर्थियों के सीने पर उनकी जाति का ठप्पा लगाकर अपनी दलित मानसिकता को उजागर किया है वहीं दूसरी तरफ मध्य प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री दलितों केा अपने घर पर बुलाकर भेाजन बनवाकर खिलाने की तथा जूठे बरतन खुद के लोगों से उठवाने की बात कर दलितों के प्रति पाखण्ड और स्वार्थपूर्ण रवैया अपनाकर दलितों का मजाक बनाकर अपना ही प्रचार-प्रसार कर रही हैं।
श्रीमती सिद्धि श्री ने बताया कि मध्य प्रदेश सरकार में दलितों को पुलिस भर्ती के दौरान मेडिकल चेकअप के समय उनके सीने पर उनकी जाति अंकित कर मध्य प्रदेश की पुलिस द्वारा जो भेदभावपूर्ण अमानवीय कृत्य किया गया है जो दलित समाज की भावनाओं को आहत करता है। ऐसे अधिकारियांे के विरूद्ध उचित कार्यवाही की जाय। अनु0जाति विभाग ऐसे अधिकारियों की बर्खास्तगी की मांग करती है। इसके विरोध में आगामी 7 मई को अनु0जाति विभाग के चेयरमैन श्री भगवती प्रसाद चौधरी पूर्व विधायक के नेतृत्व में एक दिवसीय धरना-प्रदर्शन लखनऊ के जीपीओ पार्क स्थित गांधी प्रतिमा पर किया जायेगा। जिसमें अनुसूचित जाति विभाग एवं सभी कांग्रेसजन उपस्थित रहेंगे। इसके उपरान्त महामहिम राष्ट्रपति महोदय को एक ज्ञापन महामहिम राज्यपाल के माध्यम से दिया जायेगा। इस ज्ञापन में मध्य प्रदेश की भाजपा सरकार के खिलाफ एससी/एसटी एक्ट अत्याचार अधिनियम 1989 के तहत एफआईआर दर्ज करने की मांग की जायेगी।
(साभार - प्रियंका)
संपादक- स्वतंत्र भारत न्यूज़
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